Dalit Girl Forceful Kidnapping: हाल ही में बिहार (Bihar) के औरंगाबाद (Aurangabad) से एक हैरान और परेशान करने वाली खबर सामने आई है। जहाँ देर रात एक दलित लड़की को जबरन अगवा करने का मामला सामने आया है। पीड़िता के परिवार द्वारा खोजबीन करने पर परिवार को वह घर से कुछ दूरी पर एक गड्ढे के पास बेहोशी की हालत में मिली। जिसके बाद पीड़िता के परिवार ने इस घटना की सूचना पुलिस को दी है। तो आइए इस लेख में आपको पूरे मामले के बारे में विस्तार से बताते हैं।
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दलित लड़की को घर से जबरन अगवा
भारत में दलितों के साथ होने वाले उत्पीड़न की घटनाएं नई नहीं है, इनकी रोकथाम के लिए सख्त कानून तक बनाए गए लेकिन बदलते वक्त के साथ दलितों की स्थिति और खराब होती गई. आज भी न कोई उनकी सुनने वाला है और न ही कोई उन्हें बचाने वाला है. इसमें सबसे ज्यादा हैरान करने वाली बात ये है कि सरकार हो या पुलिस प्रशासन, दलितों की किसी को नहीं पड़ी है. कहीं दलितों से जुड़े मामलों को थाने में बदल दिया जा रहा है तो कहीं दलित महिलाओं को मनुवादी दबंग अपनी हवस का शिकार बना रहे हैं.
ऐसा ही एक मामला बिहार के औरंगाबाद से सामने आया है जहाँ, कुटुंबा थाना क्षेत्र के एक गांव में मंगलवार की रात दलित युवती को जबरन अगवा कर लेने का मामला सामने आया है। खोजबीन के बाद परिजनों को वह घर से कुछ दूरी पर एक गड्ढे के पास बेहोशी की हालत में मिली। वही घटना की सूचना मिलने पर बुधवार की सुबह पुलिस की 112 डायल टीम मौके पर पहुंची और पूरी घटना का संज्ञान लिया जिसके बाद पुलिस मामले की जाँच में जुट गयी है।
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पीड़ित युवती से पूछताछ
मीडिया रिपोर्ट्स से मिली जानकारी के अनुसार पीड़ित युवती को थाने लाया गया, जहां महिला पुलिस अधिकारी ने उससे पूछताछ की। थानेदार इमरान आलम ने बताया कि युवती ने किसी भी अप्रिय घटना से इनकार किया है। आपको बता दें, परिजनों ने इस संबंध में कोई लिखित शिकायत भी दर्ज नहीं कराई है। पुलिस ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच जारी है। वही इस घटना के बाद एक बार बिहार में दलितों की सुरक्षा को लेकर सवाल उठ रहे है. आखिर कब तक सुप्त सरकार आँखे मूंदे रहेगी।